Hindi Social भूँख अपनी भूँख मिटा लो साहेब, फिर जो बचे उसको छाँट लेंगे हम.. बस बचा कुछ तुम फेक न देना, उससे आज की रात काट लेंगे हम.. वो क्या है कि बच्चे का पेट है, औकात नहीं समझता, समझता सिर्फ भूख है.. फिर भी खाना फेकना चाहो, तोह समझ लेंगे गरीब होना ही चूक हैं.. February 28, 2017 0 0